केन्द्रीय जेल के अधीक्षक अनिल सिंह परिहार ने बताया कि केन्द्रीय जेल में बाल दिवस के अवसर पर आयुर्वेद चिकित्सा शिविर का आयोजन कर 300 बंदियों का स्वास्थ्य परीक्षण कर नाक, कान, गला रोग, बुखार एवं अन्य रोग का परीक्षण कर नि:शुल्क दवाईयां वितरित की गर्इं।
जेल अधीक्षक श्री परिहार ने बंदियों एवं महिला बंदियों के बच्चों को फल, गुब्बारे वितरित किये। इस अवसर पर कल्याण अधिकारी डी.के. सारस, डॉ. दीपक कुलश्रेष्ठ, डॉ. डी.के. साहू, डॉ. पवन गर्ग, डॉ. विकास खरे, उप अधीक्षक रविशंकर सिंह, मोहम्मद इसरार, सहायक अधीक्षक संजू नायक, पूजा मिश्रा, शिक्षक राजेश शुक्ला, रूद्रमणि पाण्डे, स्वदीप सिंह, मेल नर्स, कम्पाउंडर, लेबटेक्नीशियन उपस्थित थे।
भोपाल में लोन ऐप के झांसे में फंसे एक शख्स ने अपने पूरे परिवार सहित खुदकुशी कर ली। आत्महत्या करने वाले पति-पत्नी ने अपने बच्चों को जहर पिलाकर खुद फांसी लगा ली। भोपाल: कर्ज के दुष्चक्र में फंसे परिवार ने की आत्महत्या, बच्चों को जहर देकर पति-पत्नी ने लगाई फांसी भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से एक सनसनीखेज मामला सामने आया है। यहां कर्ज के दुष्चक्र में फंसे एक पति-पत्नी ने अपने दो बच्चों के साथ मौत को गले लगा लिया। बताया जा रहा है कि पति-पत्नी ने पहले अपने बच्चों को जहर दिया और इसके बाद खुद फांसी लगा ली। परिवार के इतना बड़ा कदम उठाने के पीछे की वजह कर्ज बताया जा रहा है। मामला भोपाल के रातीबड़ थाना क्षेत्र के नीलबड़ इलाके का है। पुलिस को मौके से सुसाइड नोट और सल्फास की गोलियों का पैकेट भी मिला है। एसीपी चंद्र प्रकाश पांडे के मुताबिक पहले 8 साल और 3 साल के बच्चों को सल्फास की गोलियां दी गयीं और उसके बाद पति-पत्नी ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। पुलिस के अनुसार मृतक निजी इंश्योरेंस कंपनी में नौकरी करता था, लेकिन कुछ नुकसान होने के चलत...
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